गुजरात निवासी युवक को शादी कराने का झांसा देकर रकम वसूल किए जाने के मामले में न्यायालय द्वारा मैरिज ब्यूरों के तीन संचालकों के खिलाफ धोखाधड़ी का जुर्म दर्ज किए जाने का आदेश दिया है। इस मामले की शिकायत पूर्व में पीडि़त द्वारा पुलिस में की गई थी, लेकिन पुलिस ने मामला दर्ज करने से इंकार कर दिया था। जिस परपीडि़त ने न्यायालय की शरण ली थी। न्यायालय के आदेश पर पुलिस द्वारा आरोपी दो युवतियों के साथ एक युवक के खिलाफ दफा 420, 467, 468 तथा 471 के तहत अपराध पंजीबद्ध किया गया है।
दुर्ग (छत्तीसगढ़)। मामला मोहन नगर थाना क्षेत्र में संचालित मेरा साथ मैरिज ब्यूरों तथा साथी प्वांइट मैरिज ब्यूरों से संबंधित है। इन मैरिज ब्यूरों द्वारा प्रसारित विज्ञापन से प्रभावित होकर गुजरात के गांधी नगर निवासी महेन्द्र पटेल (36 वर्ष) द्वारा संपर्क किया गया था। संपर्क किए जाने पर रामनगर (चिखली, राजनांदगांव) निवासी मेरा साथ ब्यूरों की संचालिका रूबिना सिद्धिकी द्वारा अच्छी पढ़ी-लिखी युवती की तलाश कर उसका विवाह कराने का आश्वासन दिया था। इसके लिए मैरिज ब्यूरों में 3 हजार रु. की रकम जमा कर रजिस्टे्रशन कराए जाने की सलाह दी गई थी। जिस पर विश्वास कर वर्ष 2017 में महेन्द्र दुर्ग आया। रूबिना से संपर्क करने वह उसे सिंधिया नगर स्थित साथी प्वाइंट मैरिज ब्यूरो में ले गई, जहां 3 हजार रु. सदस्यता शुल्क जमा कराया गया। इस मैरिज ब्यूरों की संचालिका अंकिता है। जिसके बाद किसी न किसी बहाने महेन्द्र से रकम की मांग कर 28 हजार रु. की रकम वसूल कर ली गई। इसमें मैरिज ब्यूरों के एक अन्य संचालक किशोर साहू के नाम से भी पीडि़त ने रकम जमा की थी। किशोर साहू को गुरुद्वारा गोड़ स्थित देशमुख भवन में संचालित मेरा साथ मैरिज ब्यूरों का महिला संचालकों ने मालिक बताया था।
खुद रख दिया शादी का प्रस्ताव
शादी के लिए युवती के संबंध में जानकारी नहीं मिलने पर महेन्द्र द्वारा दबाव बनाए जाने पर अंकिता ने बताया कि रूबिना ने उनके पास से काम छोड़ दिया है। साथ ही फोन पर हुई बातचीत के दौरान महेन्द्र से प्यार हो जाने का हवाला देते हुए खुद शादी करने का प्रस्ताव रख दिया।
मां की बीमारी के नाम से वसूली रकम
संचालिका अंकिता द्वारा रखे गए शादी के प्रस्ताव पर भी महेन्द्र शादी के लिए तैयार हो गया। जिसके बाद अंकिता ने अपनी मां की बीमारी का हवाला देकर इलाज के नाम पर 9 हजार रु. वसूल लिए। कुछ दिनों बाद शादी का सामान खरीदने के लिए 4 हजार रु. वसूलें। इसके बाद फिर से मां के इलाज के लिए रकम मांगे जाने पर महेन्द्र को शक हुआ तो उसने मां से मुलाकात करने की बात कहीं, जिस पर अंकिता टाल मटौल करने लगी थी।
पुलिस ने नहीं सुनी शिकायत
मैरिज ब्यूरों संचालकों से ठगी का शिकार होने का अहसास होने पर महेंद्र ने इस मामले की शिकायत मोहन नगर पुलिस में की थी, लेकिन पुलिस ने न तो किसी प्रकार की कार्रवाई की और न ही संबंधित के खिलाफ जुर्म दर्ज किया। जिसके बाद इस संबंध में न्यायालय के समक्ष परिवाद प्रस्तुत किया गया था। परिवाद पर विचारण पश्चात न्यायालय ने आरोपियों के खिलाफ अपराध पंजीबद्ध किए जाने का आदेश दिया है।