रायपुर (छत्तीसगढ़)। ग्रामीण ईलाकों और दूर-दूराज के क्षेत्रों के नागरिकों और संस्थानों को सस्ती ब्रॉडबैंड सेवाएं उपलब्ध कराने के उद्देश्य से शुरू किए गए भारत नेट कार्यक्रम का लाभ अब ग्रामीण क्षेत्रों को जल्द मिलेगा। इसके माध्यम से विभिन्न सरकारी एवं निजी क्षेत्रों में डिजिटलाइजेशन का कार्य होने से कार्य में शीघ्रता के साथ ही पारदर्शिता आएगी। इस परियोजना के तहत शुरू किए गए कार्य के प्रथम चरण में बस्तर जिले के 106 ग्राम पंचायतों को जोड़ा जा रहा है। जिला प्रशासन बस्तर के मार्गदर्शन में प्रथम चरण का कार्य सीएसई गवर्नेंस सर्विसेज इंडिया लिमिटेड की टीम द्वारा किया जा रहा है। इस परियोजना के द्वारा दूरस्थ ग्रामीण क्षेत्रों के ग्राम पंचायत भवन, स्कूल, राशन दुकान, पुलिस स्टेशन, हॉस्टल इत्यादि को इंटरनेट की सेवा प्रदान की जाएगी।
इस परियोजना के माध्यम से सभी घरों विशेष रूप से ग्रामीण परिवारों को डिजिटल इंडिया कार्यक्रम के तहत राज्य और निजी क्षेत्र की साझेदारी से सस्ती उच्च गति इंटरनेट कनेक्टिविटी उपलब्ध हो सकेगी। जिससे ग्रामवासी और व्यापारी वर्ग वाईफाई और ब्रॉडबैंड कनेक्टिविटी जैसी सुविधाओं का उपयोग कर सकेंगे।
भारत नेट योजना के तहत बस्तर जिले में कुल 10 वन-धन विकास केंद्रों के सेल्फ हेल्प ग्रुप का डिजिटाइजेशन किया जा रहा है। जिसमें से आसना और बकावंड वन-धन विकास केंद्र में डिजिटाइजेशन का कार्य प्रारंभ कर दिया गया है। साथ ही अन्य वन-धन केंद्रों में भी जल्द ही कार्य प्रारंभ किया जाएगा। इस डिजिटाइजेशन कार्य के द्वारा सेल्फ हेल्प ग्रुप के मेंबर की जानकारी ट्रेफिड एप्लीकेशन में स्टोर की जा रही है।