सीएम विष्णुदेव साय बोले – लोकतंत्र की सुदृढ़ परंपराओं का प्रतीक है छत्तीसगढ़ विधानसभा
रायपुर। छत्तीसगढ़ विधानसभा के रजत जयंती समारोह में देश की प्रथम नागरिक, राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु की उपस्थिति ने इस ऐतिहासिक अवसर को और भी गौरवमयी बना दिया। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने प्रदेशवासियों की ओर से राष्ट्रपति का स्वागत करते हुए कहा कि यह हम सभी के लिए सौभाग्य की बात है कि जब छत्तीसगढ़ विधानसभा अपने 25 गौरवशाली वर्षों का उत्सव मना रही है, तब देश की राष्ट्रपति हमारे बीच उपस्थित हैं।

मुख्यमंत्री साय ने कहा कि छत्तीसगढ़ राज्य का गठन वर्ष 2000 में भारत रत्न स्वर्गीय अटल बिहारी वाजपेयी जी के नेतृत्व में हुआ था। संयोगवश, छत्तीसगढ़ का यह रजत वर्ष अटल जी की जन्मशताब्दी वर्ष में पड़ रहा है, जिसे राज्य सरकार ‘अटल निर्माण वर्ष’ के रूप में मना रही है। उन्होंने कहा कि हमारी विधानसभा की 25 वर्षों की यात्रा लोकतांत्रिक मूल्यों को मजबूत करने वाली रही है।
लोकतांत्रिक परंपराओं को सुदृढ़ करने का मंच बना छत्तीसगढ़ विधानसभा
सीएम साय ने कहा कि छत्तीसगढ़ विधानसभा में जनहित से जुड़े मुद्दों पर सार्थक बहस, सशक्त विमर्श और स्वस्थ वातावरण में लिए गए निर्णय हमारी संसदीय संस्कृति को समृद्ध करते हैं। विधानसभा न केवल विधायी कार्यों का केंद्र रही है, बल्कि प्रतिनिधियों के नेतृत्व विकास का भी मंच बनी है। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के इस विचार को उद्धृत किया कि “सीखने की प्रक्रिया कभी रुकनी नहीं चाहिए।” इसी दिशा में हाल ही में विधानसभा सदस्यों के लिए आईआईएम रायपुर में ‘पब्लिक लीडरशिप प्रोग्राम’ आयोजित किया गया, जहां प्रशासन और नेतृत्व क्षमता को मजबूत करने पर प्रशिक्षण दिया गया।
विधानसभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह ने किया राष्ट्रपति मुर्मु का स्वागत
विधानसभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह ने कहा कि छत्तीसगढ़ विधानसभा को यह गौरव प्राप्त है कि तीसरी बार देश के राष्ट्रपति ने सदन को संबोधित किया है। इससे पहले स्वर्गीय डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम और श्रीमती प्रतिभा देवी सिंह पाटिल विधानसभा को संबोधित कर चुके हैं।
उन्होंने राष्ट्रपति मुर्मु के संघर्षशील और प्रेरणादायक जीवन को देश की महिलाओं, जनप्रतिनिधियों और युवाओं के लिए प्रेरणास्रोत बताया। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ विधानसभा की 25 वर्षों की यात्रा लोकतंत्र को मजबूत करने की दिशा में एक मील का पत्थर साबित हुई है। यहां ‘स्व-अनुशासन’ की परंपरा को स्थापित किया गया, जहां सदस्यों ने अपने बनाए नियमों का पालन कर पूरे देश के लिए एक मिसाल कायम की।
डॉ. रमन सिंह ने बताया कि छत्तीसगढ़ विधानसभा ने राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर संसदीय गतिविधियों में अपनी अलग पहचान बनाई है। उन्होंने उल्लेख किया कि 2011 में लोक सेवा गारंटी अधिनियम और 2012 में खाद्य सुरक्षा अधिनियम को छत्तीसगढ़ विधानसभा में पारित किया गया था, जो अंत्योदय और समावेशी विकास के प्रतीक बने। उन्होंने यह भी बताया कि विधानसभा शीघ्र ही नवा रायपुर स्थित नवीन भवन में स्थानांतरित होगी।
राष्ट्रपति की उपस्थिति को बताया ऐतिहासिक क्षण
नेता प्रतिपक्ष डॉ. चरणदास महंत ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु का स्वागत करते हुए कहा कि उनका जीवन संघर्ष, सादगी और सेवा का प्रतीक है। उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति की उपस्थिति इस ऐतिहासिक समारोह को और भी विशेष बना रही है। उन्होंने आभार व्यक्त करते हुए कहा कि हम सभी उनके प्रेरणादायक शब्दों से सीख लेकर छत्तीसगढ़ के विकास के लिए एकजुट होकर कार्य करेंगे।
इस अवसर पर राज्यपाल रमेन डेका ने विधानसभा सदस्य संदर्भ पुस्तिका का विमोचन किया और राष्ट्रपति मुर्मु को पुस्तिका की प्रथम प्रति भेंट की।
