सुकमा: छत्तीसगढ़ के बस्तर संभाग में सर्व पिछड़ा वर्ग समाज ने 30 दिसंबर को चक्का जाम आंदोलन का ऐलान किया है। गुरुवार को सुकमा में आयोजित एक महत्वपूर्ण बैठक में इस आंदोलन की रूपरेखा तैयार की गई। बैठक में समाज के प्रमुख पदाधिकारियों और नेताओं ने हिस्सा लिया।
संभागीय अध्यक्ष तरुण सिंह ठाकुर ने बताया कि त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में पिछड़ा वर्ग को उनकी जनसंख्या के अनुपात में भागीदारी नहीं दी गई है, जिससे समाज में गहरा आक्रोश है। उन्होंने राज्यपाल से लंबित 27% आरक्षण बिल को तत्काल बहाल करने की मांग की।
बैठक में निर्णय लिया गया कि 30 दिसंबर को सुकमा जिले में शांति प्रिय तरीके से चक्का जाम किया जाएगा। यदि मांगें पूरी नहीं हुईं, तो पूरे बस्तर संभाग में जिला मुख्यालयों पर भी चक्का जाम आंदोलन शुरू किया जाएगा। इस आंदोलन की जिम्मेदारी शासन-प्रशासन की होगी।
बहुजन समाज पार्टी के अध्यक्ष सोलोमन गांडा ने भी इस आंदोलन का समर्थन किया और कहा कि ओबीसी आरक्षण कटौती के खिलाफ वे पूरी तरह से समाज के साथ हैं। बैठक में जिला अध्यक्ष धनीराम यादव, राजू साहू, मिथिलेश यादव, सोनूराम नाग, टहनगुरू राम यादव, जितेंद्र यादव, राजूराम, सहदेव, सीताराम नाग, हरिसिंह पांडे और मुन्ना नाग समेत कई प्रमुख नेता उपस्थित रहे।
सर्व पिछड़ा वर्ग बस्तर संभाग के प्रवक्ता देवलाल सोनवंशी ने बताया कि समाज के प्रतिनिधि विधायकों और सांसदों के निवास स्थान पर जाकर ज्ञापन देंगे। उन्होंने कहा, “पिछड़ा वर्ग समाज अब अपने हक और अधिकार के लिए आर-पार की लड़ाई लड़ने को तैयार है।”