छत्तीसगढ़ के कृषि उत्पादों के साथ हेण्लूम वस्त्रों को मिलेगा अंतराष्ट्रीय स्तर पर बाजार, 8 एमओयू पर किए गए हस्ताक्षर

छत्तीसगढ़ के कृषि उत्पादों के साथ हंण्लूम वस्त्रों को अंतराष्ट्रीय व राष्ट्रीय स्तर पर बाजार उपलब्ध कराने के लिए राज्य सरकार द्वारा पहल की गई है। कृषि उत्पादों के विपणन के लिए बांग्लादेश, ग्रीस की कंपनियों और यूरोप-इंडिया एग्रीकल्चर फोरम के साथ समझौता किया गया। वहीं हैण्डलूम वस्त्रों के लिए टाटा कंपनी के ब्रांड तनीरा के साथ एमओयू पर हस्ताक्षर किए गए। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल और कृषि मंत्री रविन्द्र चौबे की उपस्थिति में आठ कंपनियों के साथ एम.ओ.यू. पर हस्ताक्षर किए गए है।

रायपुर (छत्तीसगढ़)। समझौते के तहत चार एमओयू छत्तीसगढ़ राज्य कृषि विपणन (मंडी) बोर्ड और चार एमओयू. छत्तीसगढ़ हाथ करघा विकास एवं विपणन संघ के साथ हुए है। कृषि उत्पादों के लिए बांग्लादेश, ग्रीस की विभिन्न कंपनियों और यूरोप-इंडिया एग्रीकल्चर फोरम के साथ एमओयू किया गया। छत्तीसगढ़ राज्य कृषि विपणन (मंडी) बोर्ड के साथ कृषि उत्पादों के विपणन के लिए बांग्लादेश फ्रेश फ्रुट्स इंपोर्टरस एसोसिएशन, बांग्लादेश एग्रो प्रोसेसर्स एसोसिएशन, ग्रीक फुड कॉरीडोर, ग्रीस और यूरोप-इंडिया एग्रीकल्चर फोरम ने एमओयू किए। हैण्डलूम वस्त्रों के लिए टाटा कंपनी के ब्रांड तनीरा के साथ एमओयू किया गया। कंपनी का यह ब्रांड प्राकृतिक रेशे से बुनी गयी साडिय़ों और वस्त्रों के लिए कौशल उन्यन, मानिकीकरण और दस्तावेजीकरण के क्षेत्र में सहयोग करेगा। इसके माध्यम से छत्तीसगढ़ के बुनकरों को अपने उत्पाद की गुणवत्ता में सुधार और अंतर्राष्ट्रीय और राष्ट्रीय बाजारों में अच्छा मूल्य प्राप्त करने का मौका मिलेगा।
छत्तीसगढ़ के हैण्डलूम और सिल्क उत्पादों को विश्वस्तरीय बाजार उपलब्ध कराने के लिए छत्तीसगढ़ हाथ करघा विकास एवं विपणन संघ के साथ चार एमओयू किए गए। ये एमओयू टाटा कंपनी लिमिटेड, पेरामोन इंडस्ट्रीज प्रायवेट लिमिटेड, एक गांव ग्रुप टेक्नॉलाजी प्रायवेट लिमिटेड और संत रविदास एमपी हस्तशिल्प एवं हाथकरघा विकास निगम के साथ किए गए।

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