नई दिल्ली। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को हाई कोर्ट से तगड़ा झटका लगा है। हाई कोर्ट ने उनके खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोपों की जांच सीबीआई को सौंपी है। कोर्ट ने सीबीआई को एफआईआर दर्ज कर सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत पर लगे करप्शन के आरोपों की जांच करने के लिए कहा है।
हाई कोर्ट ने यह आदेश पत्रकार उमेश शर्मा के खिलाफ मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत की छवि बिगाड़ने के मामले में दर्ज एफआईआर को रद्द करते हुए दिया। शर्मा के खिलाफ देहरादून के एक थाने में दर्ज एफआईआर को रद्द करने के आदेश देते हुए न्यायमूर्ति रविंद्र मैठाणी की एकल पीठ ने यह भी कहा कि इस मामले के सभी दस्तावेज अदालत में जमा कराए जाएं।
यह आदेश उमेश शर्मा की उस याचिका पर आया है जिसमें उन्होंने अदालत से देहरादून में दर्ज एफआईआर को रद्द करने की अपील की थी। एफआईआर में कहा गया था कि पत्रकार ने सोशल मीडिया के जरिए मुख्यमंत्री रावत का नाम पैसों के लेन-देन में घसीटते हुए उनकी छवि खराब की।
कोर्ट ने कहा, राज्य के हित में है सच का सामने आना
कोर्ट ने पत्रकार की याचिका स्वीकार करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री पर लगाए गए आरोप गंभीर हैं। इनकी जांच होना और सच का सामने आना जरूरी है। यह राज्य के हित में ही होगा कि सभी तरह के संदेह खत्म हों। इसलिए कोर्ट का मानना है कि सीबीआई को मामले में एफआईआर दर्ज करनी चाहिए और पूरे मामले की जांच करनी चाहिए।