मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने सोमवार को रीवा और शहडोल संभाग की समीक्षा बैठक में अधिकारियों और जनप्रतिनिधियों को संबोधित करते हुए कहा कि सभी विकास कार्य मापदंडों के अनुसार समय पर पूरे किए जाएं। उन्होंने चेतावनी दी कि निर्माण कार्यों में गुणवत्ता में कमी पाई गई, तो इसके लिए संबंधित अधिकारियों को जवाबदेह ठहराया जाएगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि जनप्रतिनिधियों के सुझावों को प्राथमिकता दी जाएगी और जो कार्य जनता को त्वरित राहत प्रदान करेंगे, उन्हें शीघ्र पूरा किया जाएगा। बैठक में जल संसाधन, लोक निर्माण, ऊर्जा, वन, उच्च शिक्षा, पंचायत एवं ग्रामीण विकास, नगरीय प्रशासन समेत विभिन्न विभागों के लंबित कार्यों पर विस्तार से चर्चा की गई।
शहडोल संभाग में विशेष ध्यान
मुख्यमंत्री ने शहडोल संभाग के लिए कई महत्वपूर्ण घोषणाएं कीं, जिनमें शामिल हैं:
- सोन नदी पर सेतु निर्माण।
- संभाग में आवश्यक मानव संसाधन की पूर्ति।
- शहडोल संभाग के प्रभारी अपर मुख्य सचिव नीरज मंडलोई 7 जनवरी 2025 को शहडोल में बैठक करेंगे।
नई योजनाओं का ऐलान
- नवगठित जिलों में निर्माण कार्य:
- मैहर और मऊगंज जिलों में 43-43 करोड़ रुपये की लागत से नए कलेक्ट्रेट भवन का निर्माण।
- मऊगंज में 3 सी टाइप आवास गृहों का निर्माण पीडब्ल्यूडी द्वारा।
- चित्रकूट का समग्र विकास:
- चित्रकूट को अयोध्या की तर्ज पर विकसित करने की योजना।
- नगर परिषद और म.प्र. हाउसिंग बोर्ड द्वारा क्रमशः 60 करोड़ और 88 करोड़ रुपये का विकास प्रस्ताव शासन को भेजा गया।
- मैहर में मां शारदा लोक का निर्माण:
- मां शारदा मंदिर के समग्र विकास के लिए पर्यटन और धर्मस्व विभाग मिलकर मां शारदा लोक का निर्माण करेंगे।
- पर्यटन विभाग ने निर्माण की प्रारंभिक डिजाइन तैयार की।
मुख्यमंत्री का संदेश
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि सभी विकास कार्य समय पर और गुणवत्ता के साथ पूरे हों। उन्होंने कहा, “विकास कार्यों की गुणवत्ता ही अधिकारियों के कार्य का मूल्यांकन करेगी। जनता को राहत देने वाले कार्य प्राथमिकता पर पूरे किए जाएं।”