अब जापानियों को रिझाएगा जशपुर के काजू का स्वाद, साथ में नाशपाती को भी मिला अंतर्राष्ट्रीय बाजार

बागवानी की खेती में अग्रणी छत्तीसगढ़ राज्य के जशपुर जिले की पहचान अब देश की सीमा के पार जा पहुंची है। जशपुर जिले में पैदा होने वाले काजू को खरीदने का एमओयू जापान की कम्पनी सरताज ने किया है। इसी तरह जशपुर के बगीचा विकासखंड के पाठ इलाके में और मनोरा में बहुतायत रूप से पैदा होने वाली नाशपाती भी अब अंतर्राष्ट्रीय बाजार में धूम मचाएगी। किसान नेटर्वक गुरूग्राम ने जशपुर में होन वाली नाशपाती की खरीदी के लिए हरित क्रांति आदिवासी सहकारी समिति बगीचा से एमओयू किया है। यह कम्पनी जशपुर से हर साल दस हजार क्विंटल नाशपाती खरीदेगी और अंतर्राष्ट्रीय बाजार में बेचेगी।

रायपुर (छत्तीसगढ़)। राज्य की राजधानी रायपुर में आयोजित अंतर्राष्ट्रीय क्रेता-विक्रेता प्रदर्शनी में जशपुर जिले में काजू के उत्पादन एवं प्रोसेसिंग के लिए गठित सहयोग ग्रीन प्लस आदिवासी सहकारी समिति दुलदुला से जापान की सरताज कम्पनी ने प्रतिवर्ष 60 क्विंटल काजू खरीदने का अनुबंध किया है। जशपुर जिले के दुलदुला, कुनकुरी, फरसाबहार, कांसा बेल और पत्थलगांव में 7800 किसान नाबार्ड की बाड़ी विकास योजना से तथा उतने ही किसान स्वप्रेरणा लगभग 5000 एकड़ में काजू की खेती कर रहे है। नाबार्ड ने जिन 7800 किसानों को लाभांवित किया था। वह सभी लगभग 3400 एकड़ में काजू और 3400 एकड़ में दशहरी आम का रोपण कर अब बढ़े पैमाने पर काजू और आम का उत्पादन करने लगे है। राज्य शासन की मदद से दुलदुला ब्लॉक के ग्राम रायटोली में काजू प्रोसेसिंग प्लांट भी लगा है। जिसकी उत्पादन क्षमता रोजाना एक क्ंिवटल काजू की है। आज से लगभग 5-6 साल पहले लगाए गए काजू के पेड़ो से धीरे धीरे का उत्पादन बढऩे लगा है। किसानों को अच्छा मार्केट और दाम मिले। इसलिए छत्तीसगढ़ शासन की यह मंशा एमओयू होने से पूरी होती नजर आ रही है।
इसके साथ ही जशपुर जिले में नाशपाती के बहुतायत उत्पादन को देखते हुए हर साल 10 हजार क्विंटल नाशपाती किसान नेटवर्क गुरूग्राम को देने का अनुबंध किया गया है। काजू और नाशपती क्रय करने का अनुबंध करने वाली कम्पनियों को अनुबंध मात्रा से ज्यादा भी खरीदने के लिए तैयार है। कलेक्टर ने जिले के किसानों से अपील की है कि वह काजू और नाशपाती की खेती को अधिक पैमाने पर अपनाएं। वर्तमान में लगे काजू और नाशपाती के पेड़ो की बेहतर देखभाल करें ताकि उत्पादन और अधिक हो सके। रायपुर के अंतर्राष्ट्रीय क्रेता-विक्रेता प्रर्दशनी में काजू और नाशपाती को क्रय करने के एमओयू के दौरान राज्य के कृषि मंत्री रविन्द्र चौबे तथा पीएचई एवं ग्रामोद्योग मंत्री रूद्र गुरू भी मौजूद थे। उन्होंने इसके लिए जिला प्रशासन जशपुर और किसानों को बधाई दी है।
जशपुर की चाय भी जल्द मचाएगी विदेशों में धूम
जशपुर जिले में लिची, स्ट्राबेरी, मिर्च, आलू, आम और चाय की खेती बढ़े पैमाने पर होती है अनुकूल मौसम और उपजाऊ मिट्टी की वजह से दिनों-दिन इसकी खेती का रकबा और उत्पादन बढ़ते ही जा रहा है। जिले के उत्पादक किसानों को बेहतर मूल्य मिले और उनकी आर्थिक स्थिति सुधरे इसको लेकर शासन प्रशासन की ओर से लगातार कोशिश की जा रही है। यही वजह है कि राज्य सरकार द्वारा रायपुर में आयोजित अंतर्राष्ट्रीय क्रेता विक्रता प्रदर्शनी में जशपुर जिले के काजू और नाशपाती की मिठास ने अपनी अमिट छाप छोड़ी है। जशपुर की चाय की खूशबू भी धीरे-धीरे फैलती जा रही है वह दिन दूर नहीं जब यहां की चाय भी अंर्तराष्ट्रीय बाजार में धूम मचाएगी।

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