कई दिनों की प्लानिंग के बाद इजरायल ने जुम्मे के दिन ईरान पर हमला कर दिया। आपको याद होगा कि 13 अप्रैल यानी शनिवार के दिन ईरान ने इजरायल पर रॉकेट और ड्रोन दागे थे। शनिवार यहूदियों के लिए पवित्र दिन माना जाता है। इस दिन को यहूदि सब्बाथ कहते हैं। अब इजरायल ने भी इस्लाम के पवित्र दिन शुक्रवार को ईरान पर हमला कर दिया। इजरायल ने ईरान पर एयरस्ट्राइक कर उसके इस्फहान शहर को निशाना बनाया है। ईरान का रणनीतिक तौर पर अहम शहर है। इस शहर में ईरान के न्यूक्लियर प्लांट हैं। ईरान का सबसे बड़ा यूनेनियम प्रोग्राम इसी जगह से चलाया जा रहा है। इन धमाकों के बाद कई फ्लाइट को डायवर्ट कर दिया है। ईरानी राज्य टेलीविजन ने इस्फ़हान में विस्फोटों की सूचना दी क्योंकि हवाई सुरक्षा सक्रिय कर दी गई थी और राजधानी तेहरान और इस्फ़हान सहित कई क्षेत्रों में उड़ानें निलंबित कर दी गई थीं।
इन सब के बीच बता दें कि ईरान पर हमले से ठीक पहले इजरायल ने भारत से एक संदेश दिया था। भारत में इजरायली दूतावास के मैसेज पर गौर करें तो उसने लिखा कि इस्लामिक रिपब्लिक अपनी हिंसक विचारधारा और उग्रवाद को दुनिया भर के देशों में निर्यात कर रहा है। इससे पहले की बहुत देर हो जाए ईरानी शासन को रोका जाना चाहिए। इस संदेश के कुछ ही देर बाद इजरायल ने ईरान पर एयरस्ट्राइक कर दी। यानी इजरायल ने ईरान पर पहले ही बता दिया था कि कुछ बड़ा होने वाला है। हालांकि ईरान की सरकार ये दावा कर रही है कि इजरायल झूठ फैला रहा है।
इजराइल ने शुक्रवार को ईरान में एक साइट पर ड्रोन से हमला किया, यहूदी राज्य पर तेहरान के चौतरफा हमले के कुछ दिनों बाद मध्य पूर्व में संभावित व्यापक संघर्ष की आशंका बढ़ गई थी। हालाँकि, तेहरान ने कहा कि वह ड्रोन हमले से प्रभावित नहीं हुआ और उसकी वायु रक्षा प्रणाली ने तीन ड्रोन नष्ट कर दिए। ईरानी अधिकारी ने समाचार एजेंसी रॉयटर्स को बताया कि मध्य ईरानी शहर इस्फ़हान में एक हवाई अड्डे के पास विस्फोटों की आवाज़ सुनी गई, लेकिन यह ईरान की वायु रक्षा प्रणालियों की सक्रियता का परिणाम था। जेरूसलम पोस्ट ने सूत्रों के हवाले से बताया कि एक इजरायली अधिकारी ने कहा कि देश रणनीतिक कारणों से इस हमले की जिम्मेदारी स्वीकार नहीं करेगा।
इस्लामिक रिपब्लिक अपनी हिंसक विचारधारा और उग्रवाद को दुनिया भर के देशों में निर्यात कर रहा है।