पंचायत सचिवों के बाद अब रोजगार सहायक भी हड़ताल की राह पर, मनरेगा के कार्य हो सकते हैं प्रभावित

दुर्ग (छत्तीसगढ़)। सरकार की कथित वादा खिलाफी से नाराज रोजगार सहायकों ने भी 30 दिसंबर से काम बंद अनिश्चितकालीन हड़ताल का ऐलान कर दिया है। रोजगार सहायक संघ के जिला अध्यक्ष जीवेश कुमार साहू ने बताया कि पंचायत सचिव पहले से ही अनिश्चितकालीन आंदोलन पर हैं। अब अब रोजगार सहायकों के हड़ताल से ग्राम पंचायतों में ताला बंदी कि स्थिति निर्मित हो सकती है।
जिला अध्यक्ष ने बताया कि छत्तीसगढ़ ग्राम रोजगार सहायक संघ के आह्वान पर प्रदेश के विधायको, सांसदों, त्रिस्तरीय पंचायत प्रतिनिधियों को अपनी मांगों के समर्थन के लिए संवाद पत्राचार अभियान चलाकर ज्ञापन सौंपा गया था। इसमें कई सांसद व विधायकों ने बाकायदा अपने लेटरपेड में मांगो का समर्थन में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को पत्र भी लिखा है। इसके बाद भी मांगों पर सकारात्मक निर्णय नहीं लिया जा सका है।
रोजगार सहायकों के हड़ताल से मनरेगा का काम प्रभावित होगा। बता दें कि मनरेगा के क्रियान्वयन में प्रदेश किसी न किसी श्रेणी में अव्वल रहा है। चाहे 100 दिन कार्य उपलब्ध करवाना हो या कोरोना काल मे रोजगार उपलब्ध करवाना हो। मनरेगा का कार्य रोजगार सहायकों द्वारा संपादित कराया जाता है।
पंचायत मंत्री से वार्ता फेल
रोजगार सहायक संघ का प्रांतीय प्रतिनिधि मंडल की मांगों को लेकर पंचायत मंत्री टीएस सिहदेव से चर्चा होती रही है, लेकिन 2 वर्षों में कोई भी निर्णय नहीं हो पाया। पंचायत मंत्री से स्पष्ट आश्वासन नहीं मिलने पर आंदोलन का निर्णय किया गया है।
रोजगार सहायकों की यह मांगें
वेतनमान निर्धारण नियमितीकरण।पंचायत सचिव पद पर शतप्रतिशत सीधी भर्ती। रोजगार सहायकों को सहायक सचिव घोषित करने। नगरीय निकाय में सम्मिलित ग्राम पंचायतों के रोजगार सहायकों को उसी निकाय में समायोजन।