छत्तीसगढ़ सरकार ने डीजल पर लगने वाले टैक्स में 7% की कटौती की घोषणा की है। हालांकि, यह छूट केवल बड़े कारोबारियों तक सीमित रहेगी, जिससे आम जनता को किसी भी प्रकार का सीधा लाभ नहीं मिलेगा।
किसे मिलेगा फायदा?
सरकार के नए नियमों के तहत, यह छूट केवल उन बड़े कारोबारियों को दी जाएगी जो भारी मात्रा में डीजल की खपत करते हैं। इन कारोबारियों को कम टैक्स पर डीजल खरीदने की अनुमति दी गई है। ट्रांसपोर्ट और इंडस्ट्री से जुड़े कारोबारियों को इस फैसले से राहत मिलेगी, लेकिन छोटे व्यवसायी और आम वाहन उपयोगकर्ता इससे वंचित रहेंगे।
आम जनता के लिए क्या हैं मायने?
आम जनता, जो डीजल का उपयोग परिवहन और कृषि जैसे दैनिक कार्यों में करती है, इस छूट का लाभ नहीं उठा सकेगी। पेट्रोल पंप पर डीजल की कीमत में कोई कमी नहीं की गई है, जिससे किसानों, टैक्सी चालकों और छोटे वाहन मालिकों पर इसका कोई असर नहीं पड़ेगा।
सरकार की सफाई
सरकार का कहना है कि यह कदम राज्य के औद्योगिक विकास को बढ़ावा देने और बड़े कारोबारियों के लिए व्यापार अनुकूल माहौल बनाने के लिए उठाया गया है। हालांकि, आलोचकों का मानना है कि इस फैसले से सामाजिक असंतुलन पैदा हो सकता है।
जनता की प्रतिक्रियाएं
आम जनता ने इस फैसले पर नाराजगी जताई है। एक किसान ने कहा, “हमें डीजल के दाम कम होने की उम्मीद थी, लेकिन यह फायदा केवल बड़े लोगों को दिया जा रहा है।” वहीं, ट्रांसपोर्ट सेक्टर के छोटे ऑपरेटर्स ने इसे पक्षपाती कदम बताया है।
क्या है आगे की राह?
विशेषज्ञों का कहना है कि सरकार को डीजल पर टैक्स में कटौती का दायरा बढ़ाकर इसे आम जनता के लिए भी सुलभ बनाना चाहिए। इससे न केवल किसानों और छोटे व्यापारियों को राहत मिलेगी, बल्कि अर्थव्यवस्था को भी गति मिलेगी।