रायपुर (छत्तीसगढ़)। प्रदेश के मुखिया भूपेश बघेल ने कहा है कि हमारे पास डीएपी खाद की कमी है, लेकिन हमारी निर्भरता रासायनिक खाद से कम हो रही है, हम खुद खाद बना रहे हैं। उन्होंने कहा उद्यानिकी के क्षेत्र में भी नई संभावनाएं बनी हैं, जशपुर जिले में लीची का उत्पादन पहले ही होता आया है, अब बस्तर संभाग में भी लीची उत्पादन की संभावना बनी है। जशपुर जिले में चाय की खेती हो रही है, तो बस्तर संभाग में कॉफी का उत्पादन हो रहा है। जशपुर और बस्तर दोनों ही जगहों पर काजू का उत्पादन हो रहा है। इन सभी की वैल्यू एडिशन करने की जरूरत है। यहां का महुआ इंग्लैंड भेजा जा रहा है, किसानों, आदिवासियों को योजनाओं का लाभ मिल रहा है।
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आज भेंट-मुलाकात कार्यक्रम के दौरान पत्रकारों से रूबरू होकर चर्चा कर रहे थे। उन्होंने बताया कि कल मैंने पत्थलगांव विधानसभा क्षेत्र में बटईकेला, बागबहार और पत्थलगांव में लोगों से भेंट-मुलाकात की और शासन की योजनाओं का फीडबैक लिया। मैं अब तक 20 विधानसभा में जा चुका हूं। जैसा कि आप लोगों को मालूम है कि साढ़े 03 वर्षों में शासन द्वारा किए गए विकास कार्यों का फीड-बैक लेने के लिए यह भेंट-मुलाकात कार्यक्रम चलाया जा रहा है। मैं सभी 90 विधानसभा क्षेत्रों में पहुंचकर लोगों से बातचीत कर रहा हूं और स्वयं भी जमीनी स्तर पर निरीक्षण कर योजनाओं के क्रियान्वयन की जानकारी ले रहा हूं। सार्वभौम पीडीएस लागू है, हर व्यक्ति को राशन मिले ये मैने सुनिश्चित किया है।
मुख्यमंत्री ने कहा जशपुर में सड़कों की दिक्कत है, इसे मैं मानता हूं, ठेकेदार के कारण परेशानी हुई। खरसिया से पत्थलगांव 91 कि.मी. 147 करोड़ की लागत से छत्तीसगढ़ विकास निगम के अंतर्गत स्वीकृत कर लिया गया है। सिंचाई में हो रही समस्या को दूर करने और सिंचाई व्यवस्था को अधिक सुलभ बनाने के लिए मैने एनीकट निर्माण की घोषणा की है। पत्थलगांव में गाड़ियों के फिटनेस के लिए कैंप खुलेगा ताकि ट्रांसपोर्टरों को बार-बार जशपुर ना जाना पड़े।
मुख्यमंत्री बघेल ने बताया कि उन्होंने कोयला मंत्री से कहा कि रायल्टी क्यूं नहीं बढ़ा रहे, हमारा तो नुकसान ही नुकसान है। उन्होंने कहा राज्य सरकार इनपुट सब्सिडी में कोई कमी नहीं करेगी, आगे भी ये जारी रहेगा। भारत सरकार जितना एमएसपी बढ़ाएगी उतना ही किसानों को लाभ होगा।