अंततः तीन दिन बाद शिवनाथ से निकली कार, युवक का मिला शव, हादसा नहीं खुदकुशी का नजर आ रहा मामला

दुर्ग (छत्तीसगढ़)। शिवनाथ नदी में तीन दिनों से लापता कार को बाहर निकालने में अंततः सफलता मिल गई है। पुलगांव के पुराने पुल से उफनती शिवनाथ नदी में गिरी कार तीसरे दिन नदी के अंदर मिली। कार के अंदर से एक शव बरामद किया गया है। उसकी पहचान रायपुर पचपेड़ी नाका निवासी निशांत भंसाली पिता मनोहर मल जैन (32 वर्ष) के रूप में हुई है। पुलिस ने मर्ग कायम कर शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है।

बताया जा रहा है कि मृतक निशांत रविवार को अपने परिजनों से विवाद के बाद नाराज होकर घर से निकल गया था, जिसके बाद वह वापस नहीं लौटा था। परिजनों से उसकी गुमशुदगी की रपट पुलिस में भी दर्ज कराई थी। जिससे यह माना जा रहा है कि कार में निशांत ही अकेला था और जान देने की नियत से उसने कार को उफनती नदी में गिरा दिया था। यह घटना राजनांदगांव से वापसी के दौरान सोमवार रात को हुई थी।

राजनांदगांव निवासी बालू हंसारी ने बताया कि निशांत के पिता मनोहर लाल का 18 जुलाई को उसके पास फोन आया था। उन्होंने बताया कि निशांत 17 जुलाई की शाम घर से नाराज होकर कहीं चला गया है। इसके बाद रायपुर में उसकी गुमशुदगी दर्ज कराई गई। पुलिस ने जब निशांत का मोबाइल लोकेशन निकाला तो लास्ट लोकेशन शिवनाथ नदी पुलगांव दुर्ग आया। इसके बाद बालू हंसारी बुधवार को मौके पर पहुंचे थे। जैसे ही क्रेन की मदद से सीजी 04 एलडब्ल्यू 1177 नंबर की स्विफ्ट कार नदी निकली बालू हंसारी ने कहा ये कार निशांत की है। कार के अंदर एक शव मिला जो की बुरी तरह सड़ गया था। एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और स्थानीय पुलिस की मदद से कार के अंदर से एक शव को बाहर निकाला गया। इसके बाद उसे पंचनामा कार्रवाई के लिए दुर्ग जिला अस्पताल भेजा गया।

दुर्ग एसपी डॉ. अभिषेक पल्लव ने बताया कि प्रथम दृष्टया मामला खुदकुशी का ही लग रहा है। निशांत अकेले यहां आया या उसके साथ कोई और था। घटना कैसे घटी। उसकी मौत कैसे हुई इसका खुलासा पीएम रिपोर्ट और जांच के बाद हो जाएगा। पुलिस निशांत के परिजनों और उसके दोस्तों से भी इस बारे में पूछताछ करेगी।
शिवनाथ नदी में तीन दिन तक चले इस सर्चिंग अभियान में एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीम ने मिलकर कार्य किया। टीम के लगभग 50 जवानों के साथ स्थानीय मछुआरों की मदद ली गई। किया।

कार को ऊपर लाने के लिए क्रेन से बांधने में एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीम असफल हो जा रही थी। इसके बाद स्थानीय मछुआरे श्याम कुमार ढीमर और कैलाश ढीमर ने नदी में बिना ऑक्सीजन के डुबकी लगाई और कार को बांधा। इसके बाद क्रेन की मदद से कार को बाहर निकाला गया। उनके इस सराहनी कार्य के लिए उन्हें 15 अगस्त को सम्मानित किया जाएगा। साथ ही साथ दुर्ग एसपी राज्य शासन से अनुरोध करेंगे की इन्हें नदी की निगरानी के कार्य में रखा जाए, जिससे आपदा प्रबंधन इनकी मदद ली जा सके।
एसडीआरएफ के प्रभारी नागेंद्र कुमार सिंह का कहना है कि दो दिन से नदी का जल स्तर लगभग 30 फिट ऊपर था। इससे कार को खोजने में परेशानी हो रही थी। बुधवार को 10 फिट जलस्तर कम होने और बहाव कम होने से उसे खोजने आसानी हुई। एसडीआरएफ की टीम ने सराहनीय कार्य किया और कार को खोज निकाला है।