छत्तीसगढ़ में ग्रामीण और आदिवासी क्षेत्रों में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए होमस्टे नीति 2025-30 को मिली कैबिनेट की मंजूरी

रायपुर, 5 जून 2025 — छत्तीसगढ़ सरकार ने राज्य के ग्रामीण और आदिवासी बहुल क्षेत्रों में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए ‘छत्तीसगढ़ होमस्टे नीति 2025-30’ को मंजूरी दे दी है। यह फैसला मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय की अध्यक्षता में बुधवार को आयोजित मंत्रिपरिषद की बैठक में लिया गया। यह नीति विशेष रूप से माओवाद प्रभावित बस्तर संभाग और सरगुजा जैसे क्षेत्रों में ग्रामीण पर्यटन को प्रोत्साहित करने के लिए लागू की जा रही है।

सरकारी प्रवक्ता ने बताया कि इस नीति के तहत पर्यटक ग्रामीण जीवन का अनुभव कर सकेंगे और उन्हें स्थानीय जनजातीय संस्कृति, कला, हस्तशिल्प तथा पारंपरिक जीवनशैली को नजदीक से जानने का अवसर मिलेगा। इससे स्थानीय लोगों को स्वरोजगार का अवसर मिलेगा, जिससे उनकी आय में वृद्धि होगी और ‘वोकल फॉर लोकल’ के लक्ष्य की प्राप्ति होगी।

इस नीति के तहत घरों को होमस्टे के रूप में विकसित कर पर्यटकों को ठहरने की सुविधा दी जाएगी, जिससे पर्यटन से सीधे ग्रामीणों को लाभ मिलेगा और राज्य के दूरदराज क्षेत्रों को राष्ट्रीय पर्यटन मानचित्र पर स्थापित करने में मदद मिलेगी।

बैठक में एक अन्य महत्वपूर्ण निर्णय लेते हुए राज्य सरकार ने स्थानांतरण नीति 2025 को भी मंजूरी दी। इस नीति के तहत राज्य स्तर पर 14 जून से 25 जून तक 11 दिनों की अवधि में स्थानांतरण किए जाएंगे। संबंधित विभागों के मंत्री इन स्थानांतरणों को स्वीकृति देंगे। 25 जून के बाद किसी भी प्रकार का स्थानांतरण प्रतिबंधित रहेगा, हालांकि आपात स्थितियों में समन्वय के माध्यम से अपवाद स्वरूप स्थानांतरण संभव होगा। स्थानांतरण के लिए आवेदन 6 जून से 13 जून के बीच स्वीकार किए जाएंगे।

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