रायपुर (छत्तीसगढ़)। छत्तीसगढ़ शासन के खाद्य विभाग ने यह स्पष्ट किया है कि राज्य में सार्वजनिक वितरण प्रणाली के तहत सामान्य एपीएल राशनकार्ड में परिवर्तन करने या राशनकार्ड समाप्त करने का कोई प्रस्ताव विभाग में विचाराधीन नही है। प्रदेश के 9.19 लाख राशनकार्डधारी सामान्य परिवारों के 29.45 लाख सदस्यों को योजना का लाभ मिल रहा है। नागरिकों द्वारा एपीएल एवं अन्य योजना के नवीन राशनकार्ड के लिए निर्धारित प्रारूप में आवेदन पत्र पूर्ण रूप से भरकर आवश्यक दस्तावेज सहित ग्राम पंचायत या नगरीय निकाय में प्रस्तुत करने पर नियमानुसार नवीन राशनकार्ड जारी किया जाएगा। राज्य में नवीन सामान्य (एपीएल) राशनकार्ड बनाने की कार्यवाही निरंतर जारी है।सामान्य, एपीएल राशनकार्डधारियों को प्रतिमाह राज्य शासन द्वारा निर्धारित पात्रता अनुसार 10 रूपए प्रतिकिलो की दर पर चावल प्रदाय किया जा रहा है। राज्य में एपीएल राशनकार्डधारियों को माह अक्टूबर 2019 से खाद्यान्न प्रदाय किया जा रहा है। माह अप्रैल 2020 में 7.45 लाख राशनकार्डधारियों द्वारा 21,756 टन चावल का उठाव उचित मूल्य दुकानों से किया गया। माह जून के लिए आबंटित खाद्यान्न का वितरण जारी है। अभी तक 12, 610 राशनकार्डधारियों द्वारा चावल का उठाव किया गया है। माह जुलाई 2020 के लिए सामान्य, एपीएल चावल का भण्डारण 30 जून तक उचित मूल्य दुकानों में किया जाएगा।
लॉकडाउन होने से विभिन्न राज्यों से वापस आये छत्तीसगढ़ के श्रमिकों, प्रवासी व्यक्तियों जिनके पास राशनकार्ड नही है, उन्हें ऑफलाईन आवेदन के साथ ऑनलाईन आवेदन करने की सुविधा दी गई है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के निर्देश पर प्रवासी श्रमिकों जिनके पास केन्द्र या राज्य सरकार की पीडीएस योजना के तहत राशनकार्ड नहीं है, उन्हें मई व जून में प्रति सदस्य 5 किलो चावल व प्रति परिवार एक किलो चना निःशुल्क दिया जा रहा है। राज्य में प्रवासी व्यक्तियों व श्रमिकों का चिन्हांकन एवं पंजीयन कराकर उन्हें उचित मूल्य की दुकानों के माध्यम से खाद्यान्न वितरण किया जा रहा है। इसके लिए राज्य में 10 हजार 38 टन चावल और 528.30 टन चना का आबंटन प्रतिमाह जारी किया जा रहा है। खाद्यान्न प्राप्त करने के लिए प्रवासी श्रमिकों एवं व्यक्तियों का पंजीयन खाद्य विभाग की जनभागीदारी वेबसाईट में ऑनलाईन पंजीयन का प्रावधान है। इसके माध्यम से प्रवासी व्यक्ति तथा श्रमिक सीधे अपना पंजीयन कर सकते हैं। अथवा जिला प्रशासन के माध्यम से करवा सकते हैं। प्रवासी व्यक्तियों एवं श्रमिकों के पंजीयन की सुविधा के लिए मोबाइल एप्प भी विकसित किया जा रहा है।