राज्य सरकार की किसान हितैषी योजनाओं से ग्रामीण अर्थव्यवस्था हुई गुलजार : रविन्द्र चौबे

दुर्ग (छत्तीसगढ़)। शासन की किसान हितैषी योजनाओं से किसानों के जीवन में बड़ा बदलाव महसूस किया जा रहा है। कर्ज माफी और धान के अच्छे मूल्य से किसान पुन: खेती की ओर लौट रहे हैं। ग्रामीण अर्थव्यवस्था के गुलजार होने का असर शहरी अर्थव्यवस्था में भी दिख रहा है। किसानों की समृद्धि से व्यावसायिक वर्ग को भी लाभ पहुंच रहा है। यह बातें कृषि मंत्री रविन्द्र चैबे ने अपने संबोधन में कही। वे धमधा ब्लॉक के ग्राम सिल्ली और तुमाकला में ग्रामीणों को संबोधित कर रहे थे।
इस अवसर पर उन्होंने विभिन्न विकास कार्यों का लोकार्पण एवं शिलान्यास भी किया। मंत्री ने इस अवसर पर कहा कि ग्रामीण विकास की योजनाओं के माध्यम से ग्रामीण अर्थव्यवस्था तेजी से विकसित हुई है। नरवा, गरुवा, घुरूवा, बाड़ी योजना के माध्यम से ग्रामीण विकास की राह खुली है। गोधन न्याय योजना के माध्यम से पशुपालकों के लिए अतिरिक्त आय का रास्ता खुला है। इस कदम से पशुधन संवर्धन होगा। जैविक खेती के लिए रास्ता खुलेगा। राज्य सरकार की नीतियों से सतत विकास का रास्ता खुला है। कृषि मंत्री ने कहा कि धमधा में किसानों की सुविधाओं के लिए नए धान खरीदी केंद्र आरम्भ किये गए हैं। इसके साथ ही सिंचाई सुविधा को बढ़ावा देने भी सरकार द्वारा कार्य किया जा रहा है। नागरिक सुविधाओं को बढ़ावा देने के लिए सरकार निरंतर उपाय कर रही है। मंत्री ने कहा कि 2 सालों में अनेक जनहित की योजनाएं आरम्भ की गई हैं जिनसे जमीनी स्थिति बदल रही है। मंत्री ने इस मौके पर हितग्राहियों को विभिन्न सामग्री का वितरण भी किया। साथ ही वर्मी टैंक आदि भी देखे और गोधन न्याय योजना का क्रियान्वयन भी देखा।