दुर्ग (छत्तीसगढ़)। कलेक्टर डाॅ. सर्वेश्वर नरेंद्र भूरे ने आज धमधा ब्लाक के चार गौठानों का निरीक्षण किया। वे पेण्ड्रीतराई, लहंगा, दारगांव तथा भरनी के गौठान में गए। वहां उपस्थित स्वसहायता समूहों की महिलाओं का काम देखा और कहा कि आप लोग बड़ी मेहनत से कंपोस्ट खाद तैयार कर रही हैं। यह आपके लिए तरक्की का रास्ता खोलेगा। आपके कंपोस्ट खाद का उचित दर दिलाना प्रशासन सुनिश्चित करेगा। कलेक्टर ने गौठान समिति के सदस्यों से कहा कि गौठानों की प्रभावी भूमिका तभी हो सकती है जब गांव का सारा पशुधन गौठान इकट्ठा हो सके। इससे जैविक कृषि के लिए और गौधन योजना के लिए आपके पास पर्याप्त गोबर तैयार हो सकेगा। प्रशासन ने इसे खरीदने के लिए व्यवस्था भी तैयार की है। गोधन न्याय योजना के माध्यम से गौठानों की आय का रास्ता खुल सकेगा। कलेक्टर ने स्वसहायता समूहों से बात की एवं अन्य गतिविधियों के बारे में पूछा। पेण्ड्रीतराई में महिला स्वसहायता समूहों की सदस्यों ने बताया कि वे 25 किलो सब्जी उत्पादित कर लेती हैं और इसका गांव में ही विक्रय कर देती हैं। स्वसहायता समूहों की महिलाओं ने बताया कि वे साबुन का उत्पादन भी कर रही हैं और अठारह हजार रुपए का साबुन इसी महीने क्रय कर चुकी हैं। कलेक्टर ने इसकी पैकेजिंग देखी और तारीफ की। उन्होंने कहा कि आप लोगों ने अपने ब्रांड को करीने से तैयार किया है। यह बहुत अच्छा है इसी तरह की मेहनत करती रहीं तो आगे आपका समूह काफी तरक्की करेगा। उन्होंने कहा कि समूहों को रिवाल्विंग फंड दिया जाए। उन्होंने गौठान में काम कर रही सभी महिला स्वसहायता समूहों को मत्स्यपालन के लिए मछली बीज देने के निर्देश भी दिए। कलेक्टर ने इस संबंध में गौठानों में तैयार किए गए तालाब भी देखे। उन्होंने कहा कि गौठानों में मुर्गी पालन को भी बढ़ावा देना है जो समूह इस संबंध में इच्छुक हैं उनके प्रकरण तैयार किये जाए। जिला पंचायत सीईओ सच्चिदानंद आलोक भी इस मौके पर मौजूद थे। उन्होंने कहा कि चौदहवें वित्त आयोग की राशि के माध्यम से गौठान की जरूरतों के कार्य पूरा करा लें। उन्होंने कहा कि पंद्रहवें वित्त आयोग की राशि भी पंचायतों को जारी कर दी गई है। इस मौके पर सहायक कलेक्टर जितेंद्र यादव, एसडीएम दिव्या वैष्णव, सीईओ प्रकाश मेश्राम भी उपस्थित थे।
इस दौरान कलेक्टर ने महिलाओं से पूछा कि आप लोग किस तरह से नवाचार कर रही हैं। महिलाओं ने बताया कि कंपोस्ट खाद बनाने के लिए ही हमने नया तरीका चुना है। अब हम लोग डिकंपोसर का उपयोग कर रही हैं। इसके माध्यम से 90 दिन में बनने वाला खाद केवल 50 दिनों में तैयार हो रहा है। कलेक्टर ने हर गौठान में पांच अतिरिक्त वर्मी कंपोस्ट बनाने के निर्देश भी दिये।
साफसफाई की खराब स्थिति पर जताई नाराजगी
कलेक्टर ने धमधा और अहिवारा दोनों ही स्वास्थ्य केंद्रों में साफसफाई की खराब स्थिति पर सख्त नाराजगी जाहिर की। उन्होंने कहा कि साफसफाई एक बिल्कुल सामान्य व्यवस्था है जिसके संबंध में की गई लापरवाही से खराब व्यवस्था झलकती है। अस्पताल परिसर में तो ऐसा कतई नहीं होना चाहिए। उन्होंने कहा कि आप लोग जीवनदीप समिति से प्राप्त आय के माध्यम से अस्पताल में व्यवस्था और बेहतर कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि अगले पंद्रह दिनों में वे अस्पताल में पुनः आएंगे, तब तक अस्पताल में मुकम्मल व्यवस्था सुनिश्चित कर लें। उन्होंने सीएचसी धमधा के भवन के स्थल का चिन्हांकन भी किया। साथ ही यह भी कहा कि डिजाइन इस तरह तैयार हो कि बरगद के पेड़ को किसी तरह से नुकसान नहीं पहुंचे।
पंद्रह अगस्त तक तैयार करें बीज प्रगुणन केंद्र
कलेक्टर ने राजपुर के बीज प्रगुणन केंद्र के निर्माण कार्य की प्रगति का निरीक्षण भी किया। यहां उन्होंने पंद्रह अगस्त तक पूरा काम समाप्त करने के निर्देश दिए। इस केंद्र के तैयार हो जाने से किसानों को सब्जी के बेहतर क्वालिटी के पौधे मिल पाने में आसानी होगी।