अमेरिका में H-1B वीजा शुल्क पर राहत: ट्रंप प्रशासन ने दी बड़ी छूट, भारतीय छात्रों और पेशेवरों को मिला फायदा

H-1B visa fee exemption, नई दिल्ली:
अमेरिका में काम करने और पढ़ने की चाह रखने वाले भारतीयों के लिए राहत भरी खबर आई है। डोनाल्ड ट्रंप प्रशासन ने हाल ही में जारी 100,000 डॉलर (करीब 89 लाख रुपये) के H-1B वीजा शुल्क पर अहम स्पष्टीकरण जारी करते हुए कई श्रेणियों को इस शुल्क से छूट दी है। इससे सबसे ज्यादा फायदा भारतीय छात्रों और आईटी पेशेवरों को मिलने वाला है।

यूएस सिटिजनशिप एंड इमिग्रेशन सर्विसेज (USCIS) ने स्पष्ट किया है कि यह शुल्क केवल 21 सितंबर 2025 के बाद दायर होने वाले नए H-1B वीजा आवेदनों पर लागू होगा, जिनके लाभार्थी अमेरिका के बाहर हैं और जिनके पास वैध H-1B वीजा नहीं है।


🎓 छात्रों और प्रोफेशनलों के लिए बड़ी राहत

USCIS के अनुसार, जो लोग अमेरिका के भीतर रहकर अपने वीजा स्टेटस को बदलते हैं — जैसे छात्र वीजा (F-1) से वर्क वीजा (H-1B) में परिवर्तन — उन्हें यह भारी शुल्क नहीं देना होगा। यह कदम भारतीय छात्रों के लिए बड़ी राहत लेकर आया है, जो हर साल बड़ी संख्या में अमेरिका में उच्च शिक्षा और रोजगार के अवसर तलाशते हैं।

वर्ष 2024 में जारी रिपोर्ट के अनुसार, अमेरिका में विदेशी छात्रों में 27% भारतीय छात्र थे, जो पिछले वर्ष की तुलना में लगभग 11.8% की वृद्धि थी। वहीं, 2024 में जारी हुए कुल H-1B वीजा में से 70% भारतीय पेशेवरों को मिले थे।


🧾 किन पर लागू नहीं होगा शुल्क

USCIS ने कहा कि यह नया शुल्क पहले से स्वीकृत वीजा, पहले से दायर याचिकाओं या वीजा एक्सटेंशन/अमेंडमेंट पर लागू नहीं होगा।
इसके अलावा, जो H-1B धारक पहले से अमेरिका में हैं और देश से बाहर जाकर दोबारा लौटते हैं, उन्हें भी यह शुल्क नहीं देना पड़ेगा।


⚖️ दुर्लभ मामलों में विशेष छूट

USCIS ने यह भी बताया कि होमलैंड सिक्योरिटी सचिव क्रिस्टी नोएम (Kristi Noem) “अत्यंत दुर्लभ परिस्थितियों” में इस शुल्क से छूट दे सकती हैं, जैसे कि जब कोई अमेरिकी नागरिक उस पद के लिए उपलब्ध न हो, या मामला “राष्ट्रीय हित” से जुड़ा हो।


💼 व्यवसायों के लिए राहत और स्पष्टता

यह घोषणा उन नियोक्ताओं के लिए भी राहत लेकर आई है, जो इस भारी शुल्क को लेकर असमंजस में थे। कई कंपनियों और संगठनों ने ट्रंप प्रशासन के खिलाफ मुकदमा दायर किया था, जिसमें इस नियम को “अवैध और छोटे व्यवसायों के लिए हानिकारक” बताया गया था।

अब USCIS ने यह भी स्पष्ट किया है कि भुगतान pay.gov के माध्यम से किया जाएगा और शुल्क का प्रमाण पत्र आवेदन के साथ अनिवार्य होगा।


✍️ निष्कर्ष

यह कदम न केवल भारतीय छात्रों और प्रोफेशनलों के लिए राहत भरा है, बल्कि अमेरिका में भारतीय समुदाय की उपस्थिति को और भी मजबूत करेगा। ट्रंप प्रशासन का यह स्पष्टीकरण वीजा नीतियों को लेकर बनी अनिश्चितता को दूर करता है और भारतीय प्रतिभाओं के लिए एक सकारात्मक संकेत देता है।

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