रायपुर। छत्तीसगढ़ की राजनीति इस समय एक बार फिर गर्माई हुई है। बुधवार को मंत्रिमंडल विस्तार की संभावनाओं ने सियासी गलियारों में हलचल तेज़ कर दी है। मंगलवार को राज्यपाल रमेन डेका रायपुर स्थित भगवान जगन्नाथ मंदिर पहुंचे। वहां जब पत्रकारों ने उनसे मंत्रिमंडल विस्तार को लेकर सवाल किया तो उन्होंने कहा— “ऐसा चर्चा है कि कुछ होने वाला है, लेकिन अभी तक कोई आधिकारिक जानकारी नहीं है। लेकिन हां, कुछ तो होने वाला है।”
राज्यपाल का यह बयान अपने आप में इशारा माना जा रहा है कि बुधवार सुबह 11 बजे मंत्रियों के शपथ समारोह की संभावना है। माना जा रहा है कि मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के विदेश दौरे पर जाने से पहले ही मंत्रिमंडल विस्तार की औपचारिकता पूरी कर ली जाएगी।
कौन-कौन हो सकते हैं शामिल?
सूत्रों के अनुसार, इस बार दुर्ग विधायक गजेंद्र यादव, रायपुर-आरंग विधायक गुरु खुशवंत, बिलासपुर के अमर अग्रवाल, अंबिकापुर विधायक राजेश अग्रवाल के नाम चर्चा में हैं। इसके अलावा गोमती साय, पुरंदर मिश्रा, बस्तर से विक्रम उसेंडी, लता उसेंडी और नीलकंठ टेकाम का नाम भी सियासी गलियारों में गूंज रहा है।
हरियाणा फार्मूला लागू
अब तक छत्तीसगढ़ में 90 विधायकों के 15% के हिसाब से 13 मंत्रियों को ही शामिल किया जा रहा था। लेकिन ‘हरियाणा फार्मूला’ के तहत इस बार एक अतिरिक्त पद भी जोड़ा गया है। यानी 14 मंत्री बनाए जाएंगे। ऐसे में पहले से खाली 2 पद और अब जुड़ने वाला 1 पद मिलाकर कुल 3 नए चेहरे मंत्रिमंडल में शामिल किए जा सकते हैं।
मानवीय स्पर्श वाली झलक
छत्तीसगढ़ की जनता की उम्मीदें इस विस्तार से जुड़ी हुई हैं। आदिवासी क्षेत्र से लेकर शहरों तक, लोग अपने-अपने प्रतिनिधि के मंत्री बनने की आस लगाए बैठे हैं। यह सिर्फ राजनीतिक समीकरण नहीं, बल्कि जनता के सपनों और उम्मीदों से भी जुड़ा हुआ फैसला होगा। अब नज़रें बुधवार पर टिकी हैं कि किसके हाथ सत्ता की नई जिम्मेदारी सौंपी जाएगी।
