नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट में 2007 में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के भड़काऊ बयान देने के मामले पर आज सुनवाई हुई। सुप्रीम कोर्ट ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पर मुकदमा चलाने की मंज़ूरी से इनकार करने को चुनौती देने वाली याचिका पर फैसला सुरक्षित रखा है। सुप्रीम कोर्ट ने यूपी सीएम योगी के खिलाफ 2007 (गोरखपुर) दंगों के मामले को वापस लेने को चुनौती देने वाली याचिका पर आदेश सुरक्षित रखा है।
याचिका में आरोप लगाया गया है कि योगी की हेट स्पीच के कारण दंगे हुए, जिसमें 10 लोग मारे गए। इलाहाबाद हाईकोर्ट द्वारा याचिका खारिज करने के बाद याचिकाकर्ता परवेज परवाज़ ने शीर्ष अदालत में याचिका दाखिल की थी। सुप्रीम कोर्ट ने 21 अगस्त 2018 को मुख्यमंत्री योगी से जुड़े 2007 के गोरखपुर दंगों के मामले को हटाने को चुनौती देने वाली याचिका पर यूपी सरकार से जवाब मांगा था।
तत्कालीन सीजेआई दीपक मिश्रा की पीठ ने नोटिस जारी कर राज्य सरकार से चार सप्ताह में जवाब मांगा था। आज सुनवाई के दौरान योगी की ओर से पेश हुए वरिष्ठ वकील मुकुल रोहतगी ने कहा,” निचली अदालत ने क्लोजर रिपोर्ट को स्वीकार कर लिया है जिसे इलाहाबाद HC ने बरकरार रखा है. यह एक मरे हुए घोड़े को सिर्फ इसलिए कोड़े मारने की कोशिश है क्योंकि वह व्यक्ति मुख्यमंत्री है। रोहतगी ने कहा कि फिलहाल रिकॉर्ड पर कोई सामग्री नहीं है।
