लंदन, 19 अक्टूबर 2025 Nirav Modi London Court Hearing —
भारत के चर्चित PNB घोटाले के आरोपी और हीरा व्यापारी निरव मोदी ने ब्रिटेन की अदालत में दावा किया है कि अगले महीने उनकी प्रत्यर्पण सुनवाई में “सनसनीखेज़ खुलासे” होने वाले हैं।
54 वर्षीय निरव मोदी ने शुक्रवार को लंदन के रॉयल कोर्ट ऑफ जस्टिस में जज साइमन टिंक्लर के समक्ष पेश होकर कहा कि उनके केस में आने वाले हफ्तों में बड़ी बातें सामने आएंगी। यह पेशी उनके खिलाफ चल रहे बैंक ऑफ इंडिया के 8 मिलियन डॉलर के बकाया मामले से जुड़ी थी।
🔹 कोर्ट में निरव मोदी के तर्क
निरव मोदी ने अदालत में कहा —
“वे (बैंक ऑफ इंडिया) मेरे प्रत्यर्पण का ज़िक्र करते रहते हैं, लेकिन मैं अब भी यहां हूं। इस बार कुछ बहुत बड़ा सामने आने वाला है।”
उन्होंने बताया कि जेल में स्वास्थ्य समस्याओं और कंप्यूटर तक सीमित पहुंच के कारण उनका बचाव मुश्किल हो रहा है। उन्होंने अदालत से कहा कि अगर किसी को एक दिन भी जेल में रहना पड़े तो वह हालात समझ सकता है।
🔹 जज का फैसला
जज टिंक्लर ने निरव मोदी की ओर से दायर स्थगन की याचिका को खारिज कर दिया और कहा कि जनवरी 2026 में मुकदमे की सुनवाई तय समय पर होगी।
जज ने यह भी निर्देश दिया कि निरव मोदी को जेल में कंप्यूटर और दस्तावेज़ों की प्रतियां दी जाएं ताकि वे मुकदमे की तैयारी कर सकें।
🔹 प्रत्यर्पण मामला फिर खुला
ब्रिटेन की क्राउन प्रॉसिक्यूशन सर्विस (CPS) ने पुष्टि की है कि निरव मोदी ने अपने भारत प्रत्यर्पण अपील को दोबारा खोलने का आवेदन किया है। भारत सरकार ने इस पर अपना जवाब जमा कर दिया है और इस मामले की अगली सुनवाई नवंबर के अंत में होगी।
🔹 भारत में तीन केस जारी
निरव मोदी के खिलाफ भारत में तीन मुकदमे चल रहे हैं —
- CBI द्वारा PNB धोखाधड़ी का मामला,
- ED द्वारा मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़ा केस,
- गवाहों और सबूतों से छेड़छाड़ का मामला।
अप्रैल 2021 में ब्रिटेन की गृह मंत्री प्रीति पटेल ने उनके प्रत्यर्पण की मंजूरी दी थी, लेकिन अब यह मामला दोबारा खुला है।
🔹 6 साल से जेल में
मार्च 2019 में लंदन से गिरफ्तार हुए निरव मोदी पिछले छह सालों से जेल में बंद हैं। उन्होंने कई बार जमानत की कोशिश की, पर अदालत ने हर बार यह कहते हुए इनकार किया कि वह “फ्लाइट रिस्क” (भागने का खतरा) हैं।
🔹 मानव पक्ष और कहानी की गहराई
कोर्ट में पेश हुए निरव मोदी थके और कमजोर दिख रहे थे। पुराने टी-शर्ट और पिंक ट्रैकपैंट में उन्होंने खुद अपनी बात रखी। उन्होंने कहा कि उनकी दृष्टि कमजोर हो रही है और उन्हें अपने केस की तैयारी करने के लिए उचित सुविधा नहीं दी जा रही।
फिर भी, उन्होंने अदालत में मुस्कुराते हुए कहा —
“मैं अब भी उम्मीद रखता हूं कि मुझे न्याय मिलेगा या कम से कम जमानत। मुझे भरोसा है कि सच्चाई सामने आएगी।”
