दुर्ग (छत्तीसगढ़)। राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन के सहायक परियोजना अधिकारी फणींद्र बोस ने जानकारी देते हुए बताया कि साधना महिला स्व सहायता समूह, जीविका महिला स्व सहायता समूह, मां परमेश्वरी महिला स्व सहायता समूह, समृद्धि महिला स्व सहायता समूह एवं अंजली महिला स्व सहायता समूह की 25 महिलाओं ने महज कुछ ही दिनों में 60,000 से अधिक मास्क तैयार कर लिया है। कोरोना वायरस के संक्रमण की रोकथाम एवं उपाय के लिए महिला स्व सहायता समूह द्वारा कपड़े से मास्क तैयार किया जा रहा है। इसमें से कुछ मास्क का वितरण अत्यावश्यक सेवा में लगे हुए अधिकारी, कर्मचारियों को किया गया है।
शासन से आदेश प्राप्त होने के बाद महापौर एवं विधायक देवेंद्र यादव ने अपनी महापौर निधि का उपयोग मास्क उपलब्ध कराने के लिए किया है तथा निगम के कुछ जनप्रतिनिधियों ने भी अपने निधि से मास्क लेने के लिए अपनी सहमति प्रदान की है। राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन के नोडल अधिकारी तरुण पाल लहरें ने बताया कि दो लेयर में मास्क तैयार किया जा रहा है ताकि मास्क की गुणवत्ता अच्छी बनी रहे। मास्क बनाने के लिए राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन के स्व सहायता समूह की महिलाओं को जिम्मेदारी दी गई है। महिलाओं के द्वारा मास्क तैयार करने पश्चात इसे पूर्ण रूप से सैनिटाइज कर उपयोग के लिए दिया जा रहा है। इस मास्क को पुनः उपयोग में लाने के लिए अच्छी तरह से धोकर सुखाया जा सकता है तथा सैनिटाइज किया जा सकता है, महिला स्व सहायता समूह की महिलाओं ने इसे बहुत ही कम दिनों में तैयार किया है। राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन के अंतर्गत आने वाले एरिया लेवल फेडरेशन की महिलाएं मास्क तैयार करने का कार्य घर पर रहकर कर रही है। लॉक डाउन के दौरान महिलाओं ने मास्क बनाने का जिम्मा लिया हुआ है और बखूबी इसे तैयार करने में जूटी हुई है।