रायपुर, 26 अगस्त 2025। मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय के निर्देश और कलेक्टर डॉ. गौरव सिंह के मार्गदर्शन में रायपुर जिला प्रशासन ने “सुशासन एक्सप्रेस” नामक अभिनव पहल शुरू की है। यह पहल ग्रामीणों तक शासन की योजनाओं और सेवाओं को सीधे उनके गाँव और घर के समीप पहुँचाने का एक सफल मॉडल बन चुकी है।
इस अभियान की शुरुआत मुख्यमंत्री ने सुशासन तिहार-2025 के दौरान ग्राम भैंसा से की थी। तब से लेकर अब तक इस पहल के माध्यम से हजारों लोग अपनी आवश्यक सेवाएँ प्राप्त कर चुके हैं।
गाँव-गाँव बदल रही तस्वीर
ग्राम संकरी के युवा उत्तम साहू को अब लर्निंग लाइसेंस के लिए शहर नहीं जाना पड़ा। सुशासन रथ से ही उन्होंने आवेदन किया और घर बैठे दस्तावेज मिल गया। सांकरा के राजेश यादव ने खुशी जताई कि बार-बार पंचायत कार्यालय जाने के बजाय अब उनका राशन कार्ड गाँव में ही बन गया।
67 हजार से अधिक मामलों का निपटारा
अब तक सुशासन एक्सप्रेस से 75,864 आवेदन प्राप्त हुए, जिनमें से 67,788 का त्वरित समाधान हो चुका है। लोगों को आय, जाति, निवास प्रमाण पत्र से लेकर राशन कार्ड, आयुष्मान कार्ड, श्रम कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस और पेंशन जैसी 20 से अधिक सेवाओं का लाभ मिल रहा है।
गाँव में बन रहा ‘वन-स्टॉप कैंप’
किसी भी गाँव में सुशासन एक्सप्रेस पहुँचने से तीन दिन पहले सूचना दी जाती है। मौके पर पटवारी, पंचायत सचिव, स्वास्थ्य टीम, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता और विभागीय अधिकारी मौजूद रहते हैं। इससे गाँव में ही छोटा प्रशासनिक शिविर तैयार हो जाता है।
प्रथम चरण सफल, दूसरा चरण जारी
अभनपुर, आरंग, धरसींवा और तिल्दा के 300 से अधिक पंचायतों में प्रथम चरण की सफलता के बाद अब दूसरा चरण शुरू हो चुका है। सुशासन एक्सप्रेस अब नए इलाकों में पहुँच रही है और ग्रामीणों की समस्याओं का त्वरित समाधान कर रही है।
नवाचार से बना मॉडल
पुरानी एंबुलेंसों को मरम्मत कर मोबाइल सेवा वैन में बदला गया। नाम मात्र खर्च में बना यह मॉडल आज ग्रामीण अंचलों में सुशासन का प्रतीक बन चुका है।
ग्रामीण कहते हैं – “पहले सरकारी कामों के लिए बार-बार दौड़ लगानी पड़ती थी, अब सुशासन एक्सप्रेस से सेवाएँ घर के पास ही मिल रही हैं।”
