रायपुर, 02 अगस्त 2025/
सावन माह के शुभ अवसर पर प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने वाराणसी से पीएम किसान सम्मान निधि की 20वीं किश्त के रूप में देशभर के 9.7 करोड़ किसानों को 20,500 करोड़ रुपये की राशि डिजिटल ट्रांसफर के माध्यम से सीधे खातों में भेजी। इस ऐतिहासिक कार्यक्रम से छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय रायपुर स्थित महात्मा गांधी उद्यानिकी एवं वानिकी विश्वविद्यालय के सभागार से वर्चुअल रूप से जुड़े और किसानों को संबोधित किया।
मुख्यमंत्री ने बताया कि छत्तीसगढ़ के 25.47 लाख किसानों को कुल 553 करोड़ 34 लाख रुपये की राशि डीबीटी के माध्यम से ट्रांसफर की गई है। इनमें 2.34 लाख वन पट्टाधारी किसान और 32,500 विशेष पिछड़ी जनजातियों के किसान भी शामिल हैं। उन्होंने प्रधानमंत्री श्री मोदी का प्रदेशवासियों की ओर से आभार व्यक्त करते हुए कहा कि “मोदी की गारंटी” के तहत प्रदेश सरकार किसानों को 3100 रुपये प्रति क्विंटल की दर से धान मूल्य दे रही है, जिससे उनकी आमदनी में वृद्धि हुई है।
श्री साय ने कहा कि 3716 करोड़ रुपये की बोनस राशि का भुगतान सरकार गठन के पहले दस दिनों में ही किया गया, जिससे किसानों का भरोसा और मजबूत हुआ। उन्होंने किसान क्रेडिट कार्ड (KCC) योजना की प्रशंसा करते हुए बताया कि अब किसान शून्य ब्याज पर ऋण प्राप्त कर पा रहे हैं, जिससे खेती-किसानी सुगम हुई है।
मुख्यमंत्री ने बताया कि बस्तर जैसे क्षेत्रों में नक्सलवाद की कमर टूटने के बाद अब वहां बोधघाट परियोजना समेत महानदी और इंद्रावती नदी को जोड़ने जैसी सिंचाई परियोजनाओं पर तेजी से काम हो रहा है। इसके अलावा दलहन-तिलहन किसानों और भूमिहीन कृषि मजदूरों को 10 हजार रुपये की सहायता भी दी जा रही है।
उन्होंने दुग्ध उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए दुधारू पशु वितरण योजना की शुरुआत की जानकारी दी, जिसे NDDB के सहयोग से 6 जिलों में प्रारंभ किया गया है। मिलेट्स (श्री अन्न) जैसे पारंपरिक और पोषक अनाजों की खेती को बढ़ावा देने पर भी जोर दिया गया है।
कार्यक्रम को केंद्रीय राज्य मंत्री श्री तोखन साहू और कृषि मंत्री श्री रामविचार नेताम ने भी संबोधित किया। नेताम ने कहा कि ‘विकसित कृषि संकल्प अभियान’ के माध्यम से वैज्ञानिकों और अधिकारियों ने 1 लाख से अधिक किसानों से मुलाकात कर उन्नत खेती की जानकारी दी है।
कार्यक्रम में किसानों को कृषि उपकरण, अनुदान राशि के चेक भी प्रदान किए गए। इस अवसर पर विधायकगण, वरिष्ठ अधिकारी, कृषि वैज्ञानिक और बड़ी संख्या में किसान उपस्थित रहे।
