बिलासपुर। पुलिस महानिरीक्षक संजीव शुक्ला के निर्देश पर पुलिस अधीक्षक (एसपी) रजनेश सिंह ने कोनी थाना प्रभारी (टीआई) नवीन कुमार देवांगन को निलंबित कर दिया है। उन पर केस डायरी में गंभीर लापरवाही बरतने का आरोप है, जिसके कारण जहरीली शराब कांड के आरोपियों को अदालत से जमानत मिल गई।
क्या है पूरा मामला?
बीते माह बिलासपुर जिले के कोनी थाना क्षेत्र के लोफंदी गांव में जहरीली महुआ शराब पीने से 9 लोगों की दर्दनाक मौत हो गई थी। इस घटना के बाद पुलिस प्रशासन पर अवैध शराब कारोबारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई का दबाव था। एसपी रजनेश सिंह ने कार्रवाई के आदेश दिए, जिसके बाद पुलिस ने छापेमारी कर सात आरोपियों को गिरफ्तार कर अदालत में पेश किया।

हालांकि, आरोपियों के खिलाफ दर्ज केस डायरी में उनकी आपराधिक हिस्ट्री शामिल नहीं की गई। इस लापरवाही के चलते आरोपियों ने अदालत में जमानत अर्जी दाखिल की, जिसे कोर्ट ने स्वीकार कर लिया और सभी आरोपियों को जमानत मिल गई।
लापरवाही पर सख्त कार्रवाई
जब यह मामला पुलिस के वरिष्ठ अधिकारियों के संज्ञान में आया, तो उन्होंने इसे कोनी पुलिस की बड़ी चूक माना। इस पर एसपी रजनेश सिंह ने तत्काल प्रभाव से कोनी थाना प्रभारी नवीन देवांगन को निलंबित कर दिया। उनके खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 112/24, 268/24, 283/24, 302/24, 468/24, 22/25 और 34(2) आबकारी अधिनियम के तहत जांच की जा रही है।
इस मामले ने पुलिस प्रशासन की कार्यशैली पर सवाल खड़े कर दिए हैं। वहीं, स्थानीय लोगों में भी पुलिस की लापरवाही को लेकर आक्रोश है।
अवैध शराब कारोबार पर शिकंजा कसने के निर्देश
इस घटना के बाद पुलिस प्रशासन ने अवैध शराब कारोबारियों पर सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए हैं। पूरे जिले में अवैध शराब के खिलाफ अभियान चलाया जा रहा है, ताकि भविष्य में इस तरह की घटनाएं न हों।
