सहकारी समिति की प्रबंधकारिणी कमेटी द्वारा पदोन्नति के लिए गए निर्णय पर संयुक्त पंजीयक द्वारा रोक लगा दी गई है। पदोन्नति के लिए गए इस निर्णय में वरिष्ठता की अनदेखी किएजाने का आरोप लगाते हुए पंजीयक न्यायालय में अपील की गई थी। अपीलार्थियों के और से वरिष्ट अधिवक्ता अजय ठाकरे द्वारा दाखिल की गई इस अपील पर विचार के पश्चात यह रोक लगाते हुए संयुक्त पंजीयक द्वारा जवाब के लिए संबंधितों को नोटिस जारी किया है। प्रकरण पर सुनवाई की अगली तिथि 30 जनवरी निर्धारित की गई है।
दुर्ग (छत्तीसगढ़)। मामला भिलाई सेक्टर 1 की छत्तीसगढ़ सहकारी साख समिति से संबंधित है। समिति 25 जुलाई 2019 को हुई प्रबंध कार्यकारिणी की बैठक में कर्मचारियों की पदोन्नति की गई थी। इस पदोन्नति के लिए गए निर्णय में समिति के पदाधिकारियों पर अनुचित रुप से अपने करीबियों को लाभ पहुंचाने के लिए वरिष्ठता की अनदेखी किए जाने के आरोप लग रहे थे। इसके अलावा सहकारी समिति के लिए स्वीकृत पद संरचना की अनदेखी कर नियम विपरीत कुछ लोगों को उपकृत किए जाने का आरोप लगाया गया था। समिति के इस फैसले को चुनौति देते हुए हाइकोर्ट के विरिष्ठ अधिवक्ता अजय ठाकरे ने प्रभावित कर्मचारियों की ओर से संयुक्त रजिस्ट्रार सहकारी सोसायटीज न्यायालय के समक्ष पेश किया गया था। इस अपील पर विचार करते हुए हुए संयुक्त रजिस्ट्रार के.एन. कान्डे ने समिति द्वारा लिए गए पदोन्नति के निर्णय पर रोक लगा दी है। इस संबंध में जवाब प्रस्तुत किए जाने के लिए संबंधित पक्षों को नोटिस जारी किया है। प्रकरण पर अगली सुनवाई 30 जनवरी को की जाएगी।