नीट-यूजी 2024 पर विवादित मेडिकल प्रवेश परीक्षा से जुड़ी याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट सुनवाई कर रहा है। यह परीक्षा 5 मई को आयोजित की गई थी। सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि फिर से परीक्षा तभी हो सकती है जब यह ठोस आधार पर सिद्ध हो कि परीक्षा की पवित्रता बड़े पैमाने पर नष्ट हो गई है।
मुख्य न्यायाधीश (सीजेआई) डी वाई चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति जे बी पारदीवाला और मनोज मिश्रा की पीठ ने महत्वपूर्ण सुनवाई शुरू करते हुए कहा कि इसका “सामाजिक प्रभाव” है। पीठ ने याचिकाकर्ताओं से यह दिखाने के लिए कहा कि पेपर लीक “व्यवस्थित” था और इसने पूरी परीक्षा को प्रभावित किया, जिससे परीक्षा रद्द करने की आवश्यकता है।
सुप्रीम कोर्ट 40 से अधिक याचिकाओं की सुनवाई कर रहा है, जिनमें राष्ट्रीय परीक्षण एजेंसी (एनटीए) द्वारा दायर याचिकाएं भी शामिल हैं। एनटीए विभिन्न उच्च न्यायालयों में नीट-यूजी पर लंबित मामलों को सुप्रीम कोर्ट में स्थानांतरित करने की मांग कर रहा है ताकि कई मुकदमों से बचा जा सके।