दुर्ग (छत्तीसगढ़)। स्कूल से घर जा रही छात्रा के साथ बुरी नीयत से बदतमीजी और मारपीट करने के आरोप में युवक को दोषी करार दिया गया है। आरोपी को विभिन्न धाराओं के तहत कुल 9 वर्ष के सश्रम कारावास व 3 हजार रुपए के अर्थदण्ड से दंडित किया गया है। लगभग 8 माह पुराने इस मामले में यह फैसला मंगलवार को को पॉक्सो स्पेशल कोर्ट की विशेष न्यायाधीश सरिता दास ने सुनाया है। अभियोजन पक्ष की ओर से विशेष लोक अभियोजक राजेश कुमार साहू ने पैरवी की थी।
घटना 6 जून 2022 को दुर्ग कोतवाली थाना क्षेत्र अंतर्गत घटित हुई थी। पीड़ित 16 वर्षीय छात्रा स्कूल से घर लौट रही थी। इसी दौरान स्कूल के पास आरोपी लुकेश उर्फ लोकेश निर्मलकर (19 वर्ष) ने उसके साथ मारपीट की और बाल पकड़कर अपने घर ले जाने लगा। छात्रा की सहेली द्वारा बीच बचाव किए जाने पर युवक मौके से भाग गया। युवक की इस हरकत की शिकायत पुलिस में कराई गई थी। शिकायत में पीड़िता ने पुलिस को यह भी बताया कि घटना से कुछ माह पूर्व इसी आरोपी युवक ने स्कूल परिसर में छात्रा का बुरी नीयत से दुपट्टा खींच दिया था। पुलिस ने आरोपी के खिलाफ अपराध पंजीबद्ध कर उसे जेल भेज दिया था। प्रकरण को विवेचना पश्चात अदालत के समक्ष पेश किया था।
प्रकरण पर विचारण फास्ट ट्रैक कोर्ट में किया गया। विचारण पश्चात विशेष न्यायाधीश (पॉक्सो एक्ट) सरिता दास ने आरोपी युवक को छात्रा के साथ मारपीट करने, दो बार छेड़खानी करने तथा पॉक्सो एक्ट के तहत दोषी करार दिया। अभियुक्त लुकेश उर्फ लोकेश निर्मलकर (19 वर्ष) को दफा 354 के तहत 3 वर्ष, 323 के तहत 1 वर्ष तथा पॉक्सो एक्ट की धारा 8 के तहत 5 वर्ष के कारावास से दंडित किए जाने का फैसला सुनाया है। सभी सजाएं साथ-साथ चलेंगी। प्रकरण में गिरफ्तारी के बाद से फैसला आने तक अभियुक्त जेल में ही निरूद्ध है।