लोकायुक्त की दबिश में आबकारी विभाग के सहायक आयुक्त की 100 करोड़ रुपए की संपत्ति का खुलासा हुआ है। जांच में इस अधिकारी के विभिन्न जिलों में पॉश घर, विशाल भूमि भूखंड, लक्जरी ऑटोमोबाइल और कई और संपत्ति पाई गईं है। आबकारी अधिकारी वर्तमान में मध्य प्रदेश के इंदौर में पदस्थ है। लोकायुक्त की टीम द्वारा जब दबिश दी गई, तब अधिकारी कार्यालय में मौजूद नही था।
भोपाल (मध्य प्रदेश)। लोकायुक्त की टीम द्वारा प्रदेश के आबकारी विभाग के सहायक आयुक्त आलोक खरे के खिलाफ मंगलवार को कार्रवाई की गई। टीम ने भोपाल, इंदौर, रायसेन और छतरपुर में सात स्थानों पर लोकायुक्त दबिश दी गई। दबिश के दौरान की गई जांच में खरे के पास पूरे राज्य में एक दर्जन संपत्तियां हैं और इंदौर और रायसेन में उनके बंगलों से एक दर्जन लक्जरी ऑटोमोबाइल और 15 लाख रुपये नकद होने का खुलासा हुआ। इन संपत्तियों को जब्त कर लिया गया है। उसके छतरपुर के बंगले से विदेशी मुद्रा बरामद होने की जानकारी भी मिली है। जांच में अधिकारी के कब्जे से बड़ी मात्रा में सोने और चांदी के आभूषण भी मिले हैं। फिलहाल जांच की कार्रवाई जारी है।
सहायक आबकारी आयुक्त आलोक खरे के खिलाफ धार और खरगोन में पदस्थापना होने के दौरान स्थानीय लोगों व धार की विधायक नीना वर्मा ने शिकायतें की थीं। विभाग में दबदबा होने के कारण उनके खिलाफ कार्रवाई नहीं हुई थी।