प्रभारी सचिव ने दुर्ग-भिलाई में योजनाओं के क्रियान्वयन का लिया जायजा, हितग्राहियों से किया सीधा संवाद

दुर्ग (छत्तीसगढ़)। जिले के प्रभारी सचिव सिद्धार्थ कोमल परदेशी ने आज दुर्ग एवं भिलाई शहर में चल रही शासकीय योजनाओं के क्रियान्वयन की स्थिति का मौका मुआयना किया। उन्होंने सीधे हितग्राहियों से संवाद किया और उनसे पूछा कि उन्हें इन योजनाओं का पूरा लाभ मिल पा रहा है या नहीं। दुर्ग जिला अस्पताल में मिल रही नई सुविधाओं का उन्होंने जायजा लिया और विविध वार्डों में भर्ती पेशेंट से सीधे बातचीत कर अस्पताल की स्थिति का हाल जाना। इस दौरान संभागायुक्त महादेव कांवरे और कलेक्टर डॉ. सर्वेश्वर नरेंद्र भुरे भी मौजूद रहे।

अस्पताल में सबसे पहले उन्हें थैलेसीमिया से पीड़ित एक बच्ची और उसके परिजन मिले। बच्ची के परिजनों ने बताया कि वे लोग हथखोज से हैं और हर महीने बच्ची को लेकर अस्पताल आते हैं। यहां ब्लड निःशुल्क चढ़ाया जाता है। प्रभारी सचिव ने इस पर ब्लड बैंक स्टाफ की प्रशंसा भी की। उन्होंने कहा कि यहां ब्लड बैंक में ब्लड की उपलब्धता की स्थिति भी नोटिस बोर्ड में हमेशा अंकित रहे ताकि मरीजों के परिजनों को इसे जानने में आसानी हो। श्री परदेसी ने यहां उपलब्ध हमर लैब का निरीक्षण भी किया। अधिकारियों ने बताया कि यहां 90 तरह के टेस्ट हो रहे हैं। इलेक्ट्रोलाइट टेस्ट जैसे सोडियम, पोटैशियम आदि की उपस्थिति के टेस्ट सुविधा होने की वजह से मरीजों को दूसरे पैथोलाजी लैब नहीं जाना पड़ रहा। परदेसी ने एसएनसीयू यूनिट भी देखा। यहां 22 बच्चे एडमिट थे। साथ ही उन्होंने आर्थाेपैडिक यूनिट का निरीक्षण भी किया। यहां उन्होंने मरीजों से चर्चा भी की। मरीजों ने बताया कि यहां नियमित रूप से दवा मिल रही है और खाना मिल रहा है। डॉक्टर अच्छा इलाज कर रहे हैं। परदेसी ने धन्वंतरि जेनरिक मेडिकल दुकान का निरीक्षण भी किया। दुकान के संचालक ने बताया कि हर दिन लगभग 22 हजार रुपए की सेल हो जाती है। जेनरिक दवाओं में 58 प्रतिशत डिस्काउंट होने की वजह से लोग इसे खरीदना पसंद करते हैं। श्री परदेसी ने भिलाई में मोबाइल मेडिकल यूनिट का निरीक्षण भी किया। यहां उन्होंने डाक्टरों से चर्चा की। डॉक्टरों ने कहा कि यहां काफी संख्या में मरीज आते हैं। अभी डिहाइड्रेशन के केस ज्यादा आ रहे हैं। एमएमयू में 28 प्रकार की दवाएं मौजूद हैं और एक महीने में 26 बार इसका फेरा लगता है। प्रभारी सचिव ने संभागायुक्त कार्यालय, एसडीएम कार्यालय, दुर्ग और सीमार्ट का निरीक्षण भी किया। एसडीएम कार्यालय में उन्होंने पूछा कि कहीं अपंजीकृत प्रकरण तो नहीं है। बहुत पुराने अनुपयोगी रिकार्ड नियमानुसार नष्ट करने की कार्रवाई करने के निर्देश भी उन्होंने दिये। उन्होंने सीमार्ट का निरीक्षण भी किया और यहां विविध वस्तुओं की उपलब्धता को लेकर काफी प्रशंसा की। साथ ही उचित मूल्य दुकान का निरीक्षण भी किया।

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