महिला आयोग की समझाइश पर पत्नी को घर ले गया पति, वहीं दो प्रकरणों में गुजारा भत्ता पर बनी सहमति

रायपुर (छत्तीसगढ़)। राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष डॉ. किरणमयी नायक ने शास्त्री चौक रायपुर स्थित आयोग कार्यालय में आज महिलाओं से संबंधित प्रकरणों पर जन-सुनवाई की। जनसुनवाई में तेजी से प्रकरणों की सुनवाई से कई महिलाओं की समस्या का समाधान मिलने लगा है। सुनवाई के दौरान आयोग की अध्यक्ष के समझाइश पर आवेदिका पत्नि और बच्चों को अनावेदक पति अपने घर ले जाने को तैयार हुआ और इस तरह  प्रकरण तत्काल निराकृत हो गया।

एक प्रकरण में आयोग की अध्यक्ष ने कहा कि अगर मामला न्यायालय में चल रहा हो तो आयोग में आवेदन न करें और अपने मामले में न्यायालय के समक्ष ही अपना पक्ष रखें।
एक अन्य प्रकरण में आयोग की समझाईश पर अनावेदक मानवीय आधार पर आवेदिका एवं उसके बच्चों के लिये 5000 रूपये नगद राशि आवेदिका को देने को तैयार हुआ। एक अन्य प्रकरण में आयोग द्वारा समझाईश पर अनावेदक ने अपनी पत्नि को 5000 रूपये भरण-पोषण राशि देने के लिए राजी हो गया। 
इसके अलावा एक अन्य प्रकरण में आवेदिका ने अनावेदक के नशा करने और गलत आदत व्यवहार देखकर तलाक देने का आवेदन प्रस्तुत किया है, उनका एक वर्ष का बच्चा भी है अनावेदक अपनी पत्नी को भरण-पोषण राशि भी नहीं देता है। आयोग की समझाइश पर अनावेदक ने 7000 रूपये प्रतिमाह आवेदिका को देना स्वीकार किया है और वह बीच-बीच में अपने बच्चे से जाकर मिल भी सकेगा इससे आवेदिका को कोई आपत्ति नहीं है। दो माह तक इस मामले को निगरानी में रखा गया है। दो माह पश्चात् इस प्रकरण में सुनवाई कर निराकरण किया जायेगा।